
अलमारी के लोकर में. तेरे ख्यालों को महफूज रखता हूँ
मैं कहीं भी रहूँ , आँखों में तेरी तस्वीर, जरुर रखता हूँ |
एक पल भी खाली रहूँ तो, आती है तेरी याद
इसलियें मैं खुद को, हमेशा मशरूफ रखता हूँ |
करता हूँ घुमा फिरा के तेरी बातें सबसे
देख कितना मैं, तुझे मशहूर रखता हूँ ||
चाँद में देखूं तुझे , मुझे बदली में भी तू नजर आये
दिल में हमेशा प्यार का फितूर रखता हूँ |
कहतें है.. तेरा नशा शराब से बड़ कर है
इसलियें में खुद को तुझ से दूर रखता हूँ |
अलमारी के लोकर में. तेरे ख्यालों को महफूज रखता हूँ
मैं कहीं भी रहूँ , आँखों में तेरी तस्वीर, जरुर रखता हूँ |